बचपन से अभिनय की इच्छा रखने वाली अभिनेत्री हिमानी शिवपुरी किसी परिचय की मोहताज नहीं. उन्होंने पढाई के दौरान ही अभिनय की शुरुआत कर दी थी. इसके बाद नेशनल स्कूल ऑफ़ ड्रामा,दिल्ली से पास होकर वे मुंबई आई और चलचित्र की दुनिया में कदम रखी. उन्होंने मनोरंजन की दुनिया में कई सफल फिल्में और टीवी शोज की है. अभी हिमानी शिवपुरी & टीवी पर ‘हप्पू सिंह की उलटन पलटन’में कटोरी अम्मा की भूमिका निभा रही है. स्वभाव से विनम्र और हंसमुख हिमानी ने साल 2020 की कुछ खट्टी मीठी बातें और आने वाले साल 2021 के संकल्प के बारें में खास गृहशोभा के साथ शेयर की. पेश है कुछ अंश.
सवाल-साल 2020 आपके लिए कैसा रहा?इस पेंडेमिक से आपको किस प्रकार के अनुभव प्राप्त हुए?
साल 2020 सबके लिए ही बहुत चुनौतीपूर्ण साल रहा है, खासकर सभी कलाकारों के लिए बिना काम के 5 महीने बैठे रहना बहुत ही मुश्किल था. मैंने लगातार काम किया है, ऐसे में 5 महीने बिना काम किये बिताना कठिन हो रहा था, क्योंकि ये हमारी कोई निश्चित जॉब नहीं है. हम सब डेली काम करने वाले मजदूर की तरह है. शूटिंग नहीं है, तो पैसा भी नहीं है. मैंने अपना घर चला लिया है, लेकिन ऐसे बहुत सारे कलाकार है, जिनको काम न करने पर पैसे नहीं और उनकी रोजीरोटी चलना मुश्किल हो गया था. मुझे उन मजदूरों को देखकर भी बहुत दुःख हुआ, जिन्हें जीने के लिए पैदल अपने घर के लिए मुंबई से रवाना होना पड़ा. बहुतों को खाना-पानी नहीं मिला, कुछ लोग राह चलते हुए मर भी गए, एक बेटी अपने पिता को साईकिल पर बिठाकर अपने गाँव ले जा रही थी. इन सारी घटनाओं को देखने पर बहुत मायूसी हुई और लगा कि आज भी हमारे देश में मजदूरों की हालत सोचनीय है. इस महामारी ने बहुत कुछ सीखने, समझने का मौका भी दिया है.
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इसके अलावा कुछ काम घर से हो सकता था, तो लोगों ने किया, लेकिन अभिनय घर से नहीं हो सकता. अभिनय के लिए घर से निकलने की जरुरत होती है. कुछ किया नहीं जा सकता था. इन 5 महीनों में मुझे आत्ममंथन करने का मौका मिला, जो काम के दौरान संभव नहीं होता था. इन 5 महीनों में मैंने अपने परिवार और खुद के लिए समय निकाला, जिसमें किताब पढना, कवितायेँ लिखना, मैडिटेशन का कोर्स करना आदि किया, जो बहुत अच्छा लगता था. जब अनलॉक की प्रक्रियां शुरू हुई तो मैं फ्लैट से नीचे उतरकर वाक् भी करती थी.
मैं खुद को प्रिविलेज्ड मानती हूं, क्योंकि मैं घर में अपने परिवार के साथ रहती हूं, जबकि कुछ लोग एक कमरे में 10 से 15एक साथ रहने की जरुरत लॉकडाउन के दौरान पड़ी थी.
सवाल-शूटिंग पर जाने से पहले आपने किस तरह की सावधानियां बरती, ताकि कोरोना से आप संक्रमित न हो?
जब डेली सोप की शूटिंग शुरू हुई, तो मैं काम पर जाने से मना करती रही, क्योंकि मुझे डर लग रहा था, लेकिन बेटे ने समझाया और मैंने भी समझी कि मेरे काम करने से कई घरों के चूल्हे जलते है. कलाकार के अलावा क्रू मेंबर, मेकअप मैन, हेयर ड्रेसर, लाइट मैन आदि किसी के पास काम नहीं था. शूटिंग शुरू न होने पर उनकी रोजीरोटी चलना मुश्किल था. फिर मैंने हिम्मत कर पूरी सावधानी के साथ काम पर जाने लगी. 5 महीने के बाद घर से निकलने पर असहाय और डर का अनुभव रहा है, क्योंकि कोविड 19 का ये दुश्मन वायरस अंजाना है, इसके बारें में किसी को कोई जानकारी या इलाज नहीं है.
सवाल-कोरोना पॉजिटिव होने पर आपके अनुभव क्या थे?
काम करते-करते मुझे कोरोना हो गया. मुझे बुखार और बदन दर्द हो गया था. जब मैं बुखार की दवा लेती तो बुखार कम हो जाता था. ऐसे मैंने दो रात बिताने के बाद जब फॅमिली डॉक्टर के कहने पर टेस्ट किया, तो कोरोना पॉजिटिव निकला. पहले हॉस्पिटल में एडमिट होने के लिए बेड नहीं मिल रहे थे. फिर किसी तरह एक हॉस्पिटल में जगह मिली और मैं एडमिट हुई. इस बीमारी में मुझे टोटल आइसोलेशन में रहना पड़ा था, डॉक्टर और नर्सेज पूरी पीपीई किट पहन कर दूर से मेरा इलाज करते थे. मेडिकल के लोग भी मुझ तक आने से डर रहे थे और ये अनुभव मेरे लिए बहुत ही अलग थी. बिना टीवी के एक कमरे में रहना मेरे लिए मुश्किल हो रहा था, मैं धूप और आसपास को देखने के लिए तरस रही थी. खुद को मैं असहाय महसूस कर रही थी, लेकिन मेरे एक मित्र ने कविता लिखने की सलाह दी और मैंने अपने अनुभव को लेकर कोरोना पर एक कविता लिख डाली और सोशल मिडिया पर डाल दी, जिसे लोगों ने काफी पसंद किया.
7 दिन अस्पताल रहने के बाद मैं घर आई और 15 दिन के लिए खुद को क्वारेंटिन किया और एक महीने के बाद फिर से काम शुरू किया, पर शारीरिक रूप से मैं बहुत कमजोर हो चुकी थी. ये अच्छा रहा कि मेरे बेटे, मेड सर्वेंट और को-एक्टर किसी को भी कोरोना नहीं हुआ. इस प्रकार ये साल बहुत ही विचित्र रहा है और बहुत कुछ सीखाकर जा रहा है. मैं चाहती हूं कि आने वाला साल सबके लिए बेहतर हो.
सवाल-अभी जिंदगी को आप किस नजरिये से देख पाती है?
मैंने आज तक 2 या 3 दिन की छुट्टी ली होगी. पहली बार जिंदगी 5 महीने के लिए रुक गयी थी. बहुत असुक्षा का माहौल चारों तरफ था. मैंने जबसे होश सम्हाला है, अभिनय किया है, पहले थिएटर, फिर फिल्म, टीवी आदि . जब मेरे पति की मृत्यु हुई, तो मैं उस समय अकेले पूरे परिवार की सपोर्टर थी. साथ ही बेटे की परवरिश भी करनी थी, लेकिन कोरोना संक्रमण का अनुभव अनिश्चितता का था. ये साल बहुत कुछ सीखा गया है. ये समय जल्दी निकल जाएँ और फिर से सब नार्मल हो जाए, इसकी मैं कामना करती हूं. पेंड़ेमिक काफी यादगार रहेगा. इसकी कहानी आगे आने वाले जेनरेशन को भी मैं बता पाउंगी. इसके अलावा इतने बड़े पेंडेमिक की वजह हम सब ही है, क्योंकि पर्यावरण का हम सबने सत्यानाश कर दिया है.
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सवाल-आपका नए साल का रेजोल्यूशन क्या है?
हर साल मैंने संकल्प लिया है, पर इस साल का संकल्प हर साल से अलग होगा. जब मुझे कोरोना संक्रमण हुआ था, तो मुझे लगा था कि मैं वापस घर अस्पताल से लौट करआउंगी या नहीं. मुझे याद है, हॉस्पिटल जाने से पहले मैंने अपनी सारी अंगूठी निकाल दी थी. ऐसे समय में पता चलता है कि जीवन कितना बहुमूल्य है. धन, घर बार, शोहरत जिसके लिए लोग भागते है, वह सब बेकार है. सबसे बड़ी चीज आज हेल्थ है. इस सच्चाई को नजदीक से मैं भुगत चुकी हूं. इसलिए मैं आगे आने वाले सभी वर्षों में स्वास्थ्य पर अधिक ध्यान दूंगी. इसके अलावा थोड़े में संतुष्ट रहना आज आवश्यक है. लोगों में बहुत कुछ पाने की होड़ पिछले कुछ सालों से लगी थी, जिसमें वे परिवार, ख़ुशी और स्वास्थ्य का ध्यान बिलकुल भी नहीं दे रहे थे. कोविड 19 ने विश्व में सभी को ये सीख दी है कि वर्तमान में आपके पास जो है, उसी को एन्जॉय करें और परिवार के साथ खुश रहे, ये आज का संकल्प सबके लिए होनी चाहिए, क्योंकि आज का पल कभी वापस लौट कर नहीं आता.