समझदारी से निवेश करना आसान काम नहीं है. इसके लिए धैर्य, निवेश में भरोसा और अपनी गलती मानने जैसी आदतें डालनी पड़ती हैं. वौरेन बफेट जैसी शख्सियत ने भी बर्कशायर स्टौक्स में की गई गलती को माना था. निवेश के दौरान कुछ बातों का ध्यान अवश्य रखना चाहिए. इस खबर में हम आपको ऐसी ही चार बातों के बारे में बताने जा रहे हैं जिन्हें आप निवेश के बिल्डिंग ब्लौक्स भी कह सकती हैं.

सही लक्ष्य रखें

अपना पैसा किसी भी तरह के निवेश में डालने से पहले अपने लक्ष्य को परिभाषित कर लें. अपने लक्ष्य को तय करने के लिए कई तरीके हो सकते हैं. निवेश से पहले खुद से ये सवाल जरूर करें.

  • आपकी जोखिम क्षमता कितनी है?
  • आपको अपने पोर्टफोलियो पर कितना समय बिताना होगा?
  • आपके शौर्ट टर्म और लौन्ग टर्म योजनाएं क्या हैं?
  • आपके शौर्ट टर्म और लौन्ग टर्म योजनाएं क्या हैं?
  • क्या आपका निवेश उदेश्य अपनी पूंजी को जमा करना और लंबी अवधि में महंगाई को मात देने वाले रिटर्न रेट के साथ बढ़ने वाला होना चाहिए?

इन लक्ष्यों को निर्धारित करने से आप एसेट एलोकेशन तय कर सकती हैं. साथ ही इसके आप अपने पोर्टफोलियो की खरीद व बिक्री की रणनीति भी बना सकती हैं. लेकिन इस बात का भी ध्यान रखें कि आप अपना लक्ष्य समय के अनुसार बदल भी सकती हैं.

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घबराएं नहीं

आमतौर पर निवेशक छोटी अवधि में हो रहे नुकसान को देखकर घबरा जाते हैं. ऐसी स्थिति में अपने स्वाभव पर नियंत्रण रखना आना चाहिए. कई निवेशक बाहरी संकेत जैसे कि न्यूजपेपर, टीवी चैनल्स पर चलाई गईं खबरों और वर्ड औफ माउथ के आधार पर अपनी निवेश रणनीति बदल लेते हैं. बाजार में हलचल दो कारणों से होती है पहला डर और दूसरा लालच. आपको अपनी निवेश रणनीति पर भरोसा रखना चाहिए और शांत रहना चाहिए. इस चीज को स्वीकार करें कि बाजार की प्रव़ृत्ति अस्थिर होती है. ऐसे में इस अस्थिरता को लाभ उठाना सीखें.

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