रेटिंगःडेढ़ स्टार

निर्माताः फायर रे फिल्मस

निर्देशकः हरीश व्यास

कलाकारः अंशुमन झा, जरीन खान,  गुरूफतेह पीरजादा, जान्हवी रावत.

अवधिः एक घंटा 57 मिनट

ओटीटी प्लेटफार्मः डिजनी हॉट स्टार

बीसवीं सदी जाते जाते बौलीवुड को समलैंगिकता का मुद्दा पकड़ा गया और तमाम फिल्मकार इसी मुद्दे को अपनी फिल्मों में भुनाते हुए लोगो का मनोरंजन करने के नाम पर अपनी तिजोरियां भरने का प्रयास कर रहे हैं. फिल्मकार हरीश व्यास भी समलैंगिकता के मुद्दे पर एक अति अपरिपक्व या यॅूं कहें कि ‘बिना पेंदे का लोटा’ को चरितार्थ करने वाली कहानी पर फिल्म ‘‘हम भी अकेले तुम भी अकेले’’लेकर आए हैं. जो कि नौ मई से ओटीटी प्लेटफार्म डिजनी हॉट स्टार पर स्ट्रीम हो रही है. इस फिल्म में हरीश व्यास ने समलैगिकता का जो तर्क दिया है, वह बहुत ही बेवकूफी भरा है. इतना ही नही लेखक-निर्देशक हरीश व्यास ने रोमांटिक ड्रामा फिल्म ‘हम भी अकेले तुम भी अकेले’में लड़की के पतलून पहनने के मुद्दे से शुरू होकर,  देसी समलैंगिक समुदाय के तर्कों और परिवार में संघर्ष को दिखाने की जो कोशिश की है, उसमें वह बुरी तरह से मात खा गए हैं.

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कहानीः

कहानी शुरू होती है मानसी(  जरीन खान )के परिवार से, जहां चर्चा हो रही है कि मानसी बचपन से ही जींस पटलून पहनते पहनते लेस्बियन हो गयी. तो वहीं चंडीगढ़ में कर्नल रंधावा(सुशील दहिया)का बेटा वीर प्रताप रंधावा(अंशुमन झा)की सगाई तरण कौर (आंचल बत्रा)से हो रही है. वीर प्रताप , तरण कौर को बता देता है कि वह ‘गे’है और वीर प्रताप रंधावा सगाई करने की बजाय घर से भागकर दिल्ली अपने मित्र व उद्योगपति अक्षय मित्तल के घर पहुंचता है. पता चलता है कि अक्षय प्रताप ने भले ही मिताली(प्रभलीन कौर)से शादी कर ली हो, पर अक्षय मित्तल भी ‘गे’ है. वीर व अक्षय के बीच गहरा प्यार है. मगर सामाजिक मान प्रतिष्ठा के चलते अक्षय ने इस बात को उजागर नही किया. यहां तक कि इस कड़वे सच से मिताली भी अनभिज्ञ है, पर मिताली को इस बात की शिकायत है कि उसके  पति अक्षय के पास उसके लिए समय नही है. दूसरे दिन अक्षय द्वारा आयोजित समलैंगिक पार्टी में वीर प्रताप रंधावा की मुलाकात मानसी से होती है. मानसी भी लेस्बियन है और जब लड़के वाले उसे देखने आते हैं , तो वह घर से भागकर अपनी लेस्बियन प्रेमिका निक्की(जान्हवी रावत)के पास दिल्ली पहुंच जाती है. मगर मानसी को उसकी सखी निक्की (जाह्नवी रावत) रूम पर नहीं मिलती.  निक्की अपने घर मैकलोडगंज गई है. निक्की की सलाह पर मानसी ड्ग्स में लिप्त अशर(नितिन शर्मा)के पास पहुंचती है, पर फिर उसका घर छोड़ देती है. अब वीर, मानसी को अपने घर में शरण देता है, जबकि दोनों विपरीत स्वभाव के हैं. दूसरे दिन वीर प्रताप,  मानसी को उसकी सखी निक्की के पास पहुंचाने के लिए मैकलोडगंज, हिमाचल प्रदेश के लिए जीप में निकल पड़ते हैं. रास्ता लंबा है और जिंदगी भी उन्हें यहां-वहां घुमाते हुए अंततः अकेले-अकेले छोड़ देती है. वास्तव में निक्की अपेन एमएलए पिता की आज्ञा के चलते  मानसी को ठुकरा देती है. अब मानसी व वीर एक होने का निर्णय ले लेते हैं. फिर कई घटनाक्रम तेजी से बदलते हैं. कुछ वक्त बाद मानसी की प्रेमिका उसके पास आ जाती है.  मगर फिर  एक हादसा होता है और मानसी के सामने अपनी प्रेमिका और वीर में से किसी एक को चुनने की चुनौती आती है. अब मानसी क्या करेगी?

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