अपने अच्छे व्यवहार व प्यार से कोई भी किसी का दिल जीत सकता है, उसे अपने अनुरूप बना सकता है. जरूरत होती है सिर्फ खुद को टटोलने की कि कहीं खुद में कुछ खामियां तो नहीं? कहीं छोटीछोटी बातों पर झगड़े तो नहीं होते? अगर आप इस पर गौर करेंगे, तो यकीन मानिए कि झगड़े बंद हो जाएंगे. वैसे हम सब की यही कहानी है. कितना पढ़लिख लिया है पर गुस्सा कंट्रोल में नहीं रहता. जानेअनजाने जबान फिसल ही जाती है. भले ही मन में सामने वाले के लिए कुछ नहीं है पर दिल को छलनी करने वाली बात जबान पर क्यों आ जाती है? यही आदत रिश्तों के दरमियान दूरियां ले आती है, जिन्हें फिर संजोना मुश्किल ही नहीं असंभव होता है.

मैं ने अपने पड़ोस कि नईनवेली दुलहन ओजल को पिछले कुछ दिनों से गंभीर हावभाव लिए देखा. हरदम खिलखिलाती, चंचल व मस्तमौला रहने वाली ओजल का यों गंभीर देखा नहीं गया. बहुत पूछने पर उस ने बताया कि उस की हसबैंड से कोल्ड वार चल रही है. ताज्जुब हुआ कि प्यार में साथ जीनमरने की कसमें खाने के बाद मांबाप की रजामंदी व आशीर्वाद से वंचित इस कपल ने कोर्ट मैरिज की और आज महज 3 महीने शादी में टूटने की कगार पर आ खड़ी हुई. उन के अटूट प्यार का यह अंजाम, ओजल का पति से यों रूठना और 2 सप्ताह से बातचीत बंद रहना मुझ से देखा न गया. मैं ने उस की मुलाकात पड़ोस में रहने वाले फैमिली कांउसर व सुप्रीम कोर्ट के वकील सरफराज सिद्दीकी से करवाई, ताकि उस की नई जिंदगी के आगाज में यों गाठें नहीं आएं और प्यार की सौंधी महक से घरआंगन ताउम्र महकता रहे. सरफराज ने उन्हें समझाया तो बिगड़ते हालात संभल गए और अब खुशहाल है उन की जिंदगी.

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